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प्रेरणादायक (Motivational) लेखिका
अर्चना कोहली 'अर्चि'
आज अर्चना कोहली 'अर्चि' किसी पहचान के लिए किसी पर निर्भर नहीं है। इन्होंने अपने दम पर अपनी अलग पहचान बना ली है।
ये एक प्रेरणादायक हिंदी लेखिका हैं जिन्होंने शादी के बाद पति की प्रेरणा से जब लिखना आरंभ किया, उस समय वे जीवन के पैंतालीस बसंत पार कर चुकी थीं तो जाहिर है, उस समय अपनी पहचान बनाना कितना कठिन रहा होगा।
पहली बार 2017 में लेखिका की दो कविताएँ- बेटियाँ और स्वच्छ भारत ने बालभारती पत्रिका के जुलाई और सितंबर के संस्करण में अपनी जगह बनाई। जिससे उन्हें आगे बढ़ने के लिए एक दिशा मिल गई।
आज लेखिका के आठ एकल संग्रह और चार साझा संग्रह प्रकाशित हैं। इनकी लिखी कविताएँ, कहानियाँ और सुविचार सोशल मीडिया पर प्रकाशित होते रहते हैं। विभिन्न समाचार-पत्रों और पत्रिकाओं में भी इनकी रचनाओं का प्रकाशन होता रहता है।
सोशल मीडिया पर आयोजित विविध प्रतियोगिताओं में भी ये भाग लेती रहती हैं जिनमें कई बार इन्हें विजेता घोषित किया गया।
मॉम्सप्रेस्सो में भी इनकी लिखी कई कहानियों को एक लाख से ज़्यादा व्यूज मिले। इनकी लिखी अधिकतर कहानियों को गोल्डन बेज प्रदान किए गए।
सोशल मीडिया पर इनके लिखे को बहुत पसंद किया जाता है। इसका उदाहरण उनकी पोस्ट पर आई प्रतिक्रियाओं से लगाया जा सकता है। इन्हें सन 2023 में भव्या फाउंडेशन के तत्वाधान में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय मैत्री सम्मेलन में 'ग्लोबल एक्सलेंसी अवार्ड' से भी सम्मानित किया गया। इसके अतिरिक्त इन्हें काव्य गौरव, साहित्य गौरव, शिक्षा ज्योति, योगनिष्ठ, प्रेमचंद सम्मान आदि भी मिले हैं।
अर्चना कोहली 'अर्चि' जी एक स्थापित लेखिका हैं जो अपनी रचनाओं के द्वारा समाज के लिए एक प्रेरणा बन रही हैं।
अगस्त 2014 में लेखिका ने मिशनरीज ऑफ चैरिटी से एक बेटी को अपनाकर प्रशंसनीय कार्य किया। रचनाओं के साथ-साथ इस प्रकार से भी लेखिका प्रेरणा का स्रोत बनी हैं।
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बचपन के पल
अर्चना कोहली 'अर्चि'/March 29, 2021
काश! बचपन के वे पल पुनः लौट आएँ वापस वे अब कभी भी न जाने पाएँ। मित्रों संग मस्ती से सर्वत्र घूमना-फिरना बाग में तितलियों संग दौड़ लगाना।। बहन-भाइयों संग लड़न........
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ये बेटियाँ
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