Poems


Poems

फैला नफरत का बाज़ार

अर्चना कोहली 'अर्चि' / April 01, 2024

फैला नफरतों का  बाज़ार है
चहुँदिश  में मचा हाहाकार है।
भाई-भाई में तकरार होती
माता रो-रोकर खुद को खोती।।

सबक प्रेम से  सभी अब भूले हैं
ईर्ष्या से सारे जन अब फूले हैं।मानवता का पाठ कौन अब पढ़ता है
दूसरों को खींच ही आगे बढ़ता है।।
 
बिना कारण ही गलतफहमी पाली है
छोटे- बड़े की होड़ में हाथ खाली हैं।
रिश्तों में अब कितनी भरी सिलवटें हैं
दिन-प्रतिदिन ही बढ़ती करवटें हैं।।  

आओ पुराना दौर हम फिर से लाएँ
द्वार अपनेपन के खोल खुशी मनाएँ।
मिल #अर्चना# नफरतों को तमाम करें
झुककर मुहब्बतों को  सलाम करें।।

अर्चना कोहली 'अर्चि'
नोएडा (उत्तर प्रदेश)

Reply to Archana

Contact

We'd love to hear from you! Send us a message using the form below.

Address

Sector-31 Noida,
Noida, U.P.(201301), India

Email Us

contact@archanakohli.com

archanakohli67@gmail.com